नमस्कार दोस्तों ! आज हम चर्चा करने जा रहे है बिहार राज्य के नालंदा जिले में बिहार शरीफ में स्थित बाबा मणिराम अखाड़ा के बारे में जो एक हिन्दू मंदिर हैं |
यह भारत का एकलौता मंदिर है जहां लंगोट चढ़ाया जाता है, बाबा मणिराम यहाँ सनातन धर्म का प्रचार प्रसार करने आए थे इसलिए यह मंदिर हमारे सनातन धर्म से जुड़ा हुआ है |
बाबा मणिराम का यह मानना था की
अच्छे मन के लिए अच्छे स्वास्थ्य का होना जरूरी है इसलिए उन्होंने व्यायाम और कुश्ती को बढ़ावा दिया था |
ऐसा माना जाता है की
लंगोट चढ़ाने से बाबा मणिराम प्रसन्न होते है और भक्तों की मनोकामना पूर्ण होती हैं |
तो चलिए इस लेख को आगे बढ़ाते हैं और इस मंदिर से जुड़ी इतिहास, आस्था की सारी बातें आपको बताते हैं | तो बने रहिए हमारे इस लेख के साथ |
बाबा मणिराम अखाड़ा कहाँ स्थित हैं ?
Contents
- 1 बाबा मणिराम अखाड़ा कहाँ स्थित हैं ?
- 2 बाबा मणिराम अखाड़ा का इतिहास
- 3 बाबा मणिराम अखाड़ा क्यों प्रसिद्ध हैं ?
- 4 बाबा मणिराम अखाड़ा का धार्मिक महत्व
- 5 बाबा मणिराम अखाड़ा वास्तुकला
- 6 बाबा मणिराम अखाड़ा कैसे पहुंचे ?
- 7 बाबा मणिराम अखाड़ा की यात्रा का सर्वोत्तम समय
- 8 अन्य पर्यटन स्थल
- 9 अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
- 10 निष्कर्ष
बाबा मणिराम अखाड़ा बिहार राज्य के नालंदा जिले में बिहार शरीफ में स्थित हैं | यह मंदिर बिहार शरीफ के दक्षिणी छोर पर पंचाने नदी के पास स्थित हैं । यह बिहार शरीफ के प्रमुख धार्मिक स्थलों में से एक हैं।
बाबा मणिराम अखाड़ा का इतिहास
दोस्तों कहीं न कहीं आपके मन में या रहा होगा की आखिर क्या है बाबा मणिराम का इतिहास ? बाबा मणिराम कौन थे? तो चलिये बताते हैं आखिर क्या है इस मंदिर का इतिहास और कौन थे बाबा मणिराम |
पौराणिक कथाओं के अनुसार बाबा मणिराम का आगमन 1238 ईस्वी में हुआ था और वह आयोद्धा से चलकर यहाँ (बिहार शरीफ) सनातन धर्म का प्रचार प्रसार करने आए थे |
बाबा ने मल्ल युद्ध के लिए अखाड़ा का निर्माण किया था | वह जंगल में रह कर मां भगवती की पूजा अर्चना करने लगे और वह लोगों को कुश्ती भी सिखाया करते थे |
बाबा मणिराम ने शहर के दक्षिणी छोर पर पंचाने नदी के पास स्थित पिस्ता घाट को अपना पूजा स्थल बनाया था और आज के समय में यहीं स्थल बाबा मणिराम अखाड़ा के नाम से प्रसिद्ध हैं |
बाबा मणिराम अखाड़ा क्यों प्रसिद्ध हैं ?
आपको बता दें की बाबा मणिराम का अखाड़ा हिन्दू धर्म के लिए एक महत्वपूर्ण स्थल हैं | इस मंदिर का वातावरण, शांत और आध्यात्मिक हैं जो श्रद्धालुओं को शांति और ध्यान का अनुभव कराती हैं |
यहाँ जो भी श्रद्धालु सच्चे मन से बाबा मणिराम की पूजा व प्रार्थना करते हैं उनकी हर मनोकामना पूर्ण होती हैं | यह मंदिर लंगोट मेला के लिए प्रसिद्ध हैं |
यहाँ हर साल आषाढ़ पूर्णिमा में लंगोट अर्पण मेला होती है और सभी भक्त जन बाबा को लंगोट अर्पण कर उनकी आराधना करते हैं | यह लंगोट मेला बड़ी ही धूम धाम से मनाई जाती हैं |
इस मेले में तरह तरह के खेल तमाशों का आयोजन किया जाता है, रंग बिरंगी सजावटें की जाती है, बच्चों के लिए विभिन्न प्रकार के झूले लगाए जाते हैं |
इस मंदिर से दुनिया भर के लोग यहाँ माथा टेकने आते हैं और बाबा मणिराम की सच्चे मन से उनकी पूजा अर्चना करते हैं | यह मंदिर नालंदा के बिहार शरीफ के प्रमुख आकर्षण स्थलों में से एक हैं |
बाबा मणिराम अखाड़ा का धार्मिक महत्व
बाबा मणिराम अखाड़ा, हिन्दू धर्म के लिए एक महत्वपूर्ण और धार्मिक स्थल हैं | यह मंदिर बाबा मणिराम को समर्पित हैं | यह मंदिर हमारे सनातन धर्म को प्रेरित करता है और बाबा मणिराम के मार्ग पे चलना सिखाता है |
बाबा मणिराम हमे अपने स्वास्थ्य के प्रति ध्यान रखने को प्रेरित करते है चूंकि उनके अनुसार अच्छे मन के लिए अच्छे स्वस्थ का होना जरूरी हैं |
बाबा मणिराम का अखाड़ा एकलौता ऐसा मंदिर है जहां लंगोट अर्पित किया जाता हैं | इस मंदिर में धार्मिक त्योहार मनाए जाते है जो क्षेत्र की सांस्कृतिक और धार्मिक विराशत को प्रदर्शित करती हैं |
बाबा मणिराम अखाड़ा वास्तुकला
इस मंदिर की वास्तुकला सुन्दर और आकर्षित हैं | मंदिर के निर्माण के लिए उपयोग किए गए सामग्री और तकनीक इसे विशेष बनती हैं |
मंदिर की दीवारों में रंग बिरंगी टाइल्स लगाई गई हैं और दीवारों में मल्ल युद्ध की एक छवि प्रदर्शित की गई है | इस मंदिर में बाबा मणिराम की बड़ी सी प्रतिमा विराजमान है साथ ही अन्य देवी – देवताओं की बहुत ही आकर्षित प्रतिमा स्थापित की गई हैं |
बाबा मणिराम अखाड़ा कैसे पहुंचे ?
बाबा मणिराम का अखाड़ा बिहार राज्य के नालंदा जिले के बिहारशरीफ में स्थित है | आप यहाँ आने के लिए बस, ट्रेन या टैक्सी से सफर कर सकते हैं |
- निकटतम हवाई अड्डा : जयप्रकाश नारायण अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा , पटना
- निकटतम रेल्वे स्टेशन : बिहारशरीफ़ रेल्वे स्टेशन
- निकटतम बस स्टेशन : बिहारशरीफ़ बस स्टेशन
बाबा मणिराम अखाड़ा की यात्रा का सर्वोत्तम समय
प्रिय पर्यटकों आप किसी भी समय बाबा मणिराम अखाड़ा की यात्रा करने जा सकते है लेकिन हमारी सलाह से आपको लंगोट मेला के समय इसका भ्रमण करने जाना चाहिए जो आषाढ़ पूर्णिमा के समय होता हैं |
यह लंगोट मेला शहर में चार चाँद लगा देता है और यह इस समय कई सारी धार्मिक और सांस्कृतिक कार्यकर्म होती हैं | अतः आपको इस मंदिर का भ्रमण करने जरूर आना चाहिए |
अन्य पर्यटन स्थल
प्रिय पर्यटकों बिहार शरीफ में अन्य पर्यटन स्थल है जिसका आप भ्रमण कर आनंद ले सकते है जैसे इब्राहीम बाया मकबरा, हिरण्य पर्वत इत्यादि | आप इन सभी आकर्षण के केंद्रों में जाए और इसके इतिहास के बारे में गहराई से जाने |
अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न
बाबा मणिराम कौंन थे ?
बाबा मणिराम एक प्रसिद्ध संत और आध्यात्मिक गुरु थे जो सनातन धर्म का प्रचार प्रसार करते थे |
बाबा मणिराम अखाड़ा कहाँ स्थित हैं ?
बाबा मणिराम का अखाड़ा बिहार राज्य के नालंदा जिले में बिहार शरीफ में स्थित हैं |
बाबा मणिराम के अनुसार अच्छे मन के लिए क्या जरूरी हैं ?
बाबा मणिराम के अनुसार अच्छे मन के लिए अच्छे स्वास्थ्य जरूरत हैं |
बाबा मणिराम को क्या अर्पित किया जाता है ?
बाबा मणिराम को लंगोट अर्पित किया जाता है
बाबा मणिराम लोगों को क्या सिखाते थे ?
बाबा मणिराम लोगों को कुश्ती सीखाते थे
निष्कर्ष
इस लेख के माध्यम से आपने बाबा मणिराम आखड़ा के बारे में जाना | बाबा मणिराम हमे अपने स्वस्थ का ध्यान करने के लिए प्रेरित करते हैं | बाबा मणिराम ने लोगों को सनातन धर्म के बारे में बताया |
आज हमने इस लेख में बाबा मणिराम अखाड़ा के प्रसिद्धता, इतिहास और इसके महत्व के बारे में जाना | साथ ही अन्य जानकारियों के बारे में चर्चा की |
अतः आपको हमारा यह लेख पसंद आया होगा और यदि आपके मन में किसी भी प्रकार का प्रश्न या आप हमे कुछ बताना चाहते है तो आप हमारे कमेन्ट बॉक्स के माध्यम से जुड़ सकते हैं | धन्यवाद
आपका दिन शुभ हो !