रंजीत कुमार
बिहारशरीफ(अपना नालंदा)।नालंदा जिला के आम नागरिकों को अब जनकल्याणकारी योजनाओं से संबंधित समस्याओं के समाधान के लिए लंबे समय तक प्रतीक्षा नहीं करनी पड़ेगी। 4 जून 2025 से नालंदा न्याय मंडल में स्थाई लोक अदालत की शुरुआत कर दी गई है। इसकी जानकारी नालंदा स्थाई लोक अदालत के अध्यक्ष विजय कुमार ने बिहारशरीफ स्थित जिला विधिक सेवा प्राधिकार सभागार में दी।

इस अवसर पर उन्होंने बताया कि उनके साथ गैर-न्यायिक सदस्य के रूप में आरती सिन्हा और अमला श्रीवास्तव ने भी योगदान दिया है। उन्होंने कहा कि यह लोक अदालत बिजली, पानी, बैंक ऋण, बीमा, शिक्षा, टेलीकॉम, पीएम आवास योजना, अस्पताल, सफाई व्यवस्था, पोस्टल सेवाओं समेत जनहित से जुड़ी समस्याओं पर सुनवाई करेगी।
कोई शुल्क नहीं, साक्ष्य सहित दें आवेदन
अध्यक्ष विजय कुमार ने बताया कि पीड़ित व्यक्ति को किसी प्रकार का शुल्क नहीं देना होगा। वे संबंधित समस्या के साक्ष्य के साथ अर्जी दाखिल करें, जिसके आधार पर वाद दर्ज किया जाएगा और संबंधित विभाग को नोटिस भेजा जाएगा। तत्पश्चात दोनों पक्षों की बारीकी से सुनवाई कर त्वरित न्याय प्रदान किया जाएगा।
क्लेम वाद को छोड़कर सभी जनहित याचिकाएं स्वीकार्य
इस अवसर पर जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव राजेश कुमार गौरव ने बताया कि नालंदा जिले के नागरिकों को त्वरित और सरल न्याय दिलाने के उद्देश्य से स्थाई लोक अदालत का गठन किया गया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि क्लेम वाद को छोड़कर अन्य सभी जनसुविधा से जुड़े मामलों की सुनवाई की जाएगी।
उन्होंने कहा कि अक्सर बिजली, अस्पताल, बैंक व अन्य सरकारी सेवाओं से लोग परेशान होते हैं और समाधान के लिए कई स्तरों पर गुहार लगाने के बावजूद न्याय नहीं मिल पाता। अब इन मामलों में लोगों को त्वरित राहत प्रदान करने का काम यह लोक अदालत करेगी।