अपना नालंदा संवाददाता
गिरियक ।गिरियक प्रखंड के दशरथपुर गांव के मेधावी छात्र शिवम सुमन ने सीबीएसई बोर्ड परीक्षा में 97.2 प्रतिशत अंक प्राप्त कर जिले का नाम गौरवान्वित किया है। उनकी इस ऐतिहासिक सफलता पर पूरे गांव में हर्ष का माहौल है और बधाई देने वालों का तांता लगा हुआ है।
शिक्षा की मजबूत नींव ने रचा सफलता का इतिहास
शिवम की प्रारंभिक शिक्षा तीर्थंकर महावीर विद्या मंदिर, पावापुरी से हुई थी। छठी कक्षा में उनका चयन जवाहर नवोदय विद्यालय, रेवाड़ (नवादा) में हुआ, जहाँ अनुशासित माहौल और योग्य शिक्षकों के मार्गदर्शन ने उनकी प्रतिभा को निखारा। शुरू से ही शिवम पढ़ाई के प्रति समर्पित और अनुशासित रहे।
परिवार बना प्रेरणा और समर्थन का आधार
शिवम के पिता श्री अभिजीत सुमन, सशस्त्र सीमा बल (SSB) में लैब टेक्नीशियन पद पर कार्यरत हैं और देश सेवा में लगे हैं। उनकी माँ आकांक्षा सुमन, एक समर्पित गृहिणी हैं, जिन्होंने घर पर शिवम को मानसिक संबल प्रदान किया। दादा योगेश्वर पंडित, सिंचाई विभाग में हेड क्लर्क पद से सेवानिवृत्त हुए हैं और दादी कैली देवी ने भी उन्हें संस्कारों और अनुभवों से हमेशा मार्गदर्शन दिया।
स्वप्न और संकल्प
अपनी सफलता पर शिवम ने कहा, “मेहनत, लगन और अनुशासन के बल पर मैंने यह मुकाम हासिल किया है। इस सफर में मेरे परिवार और शिक्षकों का साथ अमूल्य रहा।” शिवम का सपना मेडिकल क्षेत्र में करियर बनाना है और देश के लिए कुछ बड़ा करना उनका लक्ष्य है।
गांव में उमड़ा उत्सव, बांटी गई मिठाइयां
शिवम की उपलब्धि से दशरथपुर गांव में उत्सव जैसा माहौल है। ग्रामीणों ने मिठाई बांटकर खुशी जाहिर की और शिवम को शुभकामनाएं दीं। उनके घर पर बधाई देने वालों की भीड़ लगी रही। गांव के बच्चों से लेकर बुजुर्गों तक सभी को इस उपलब्धि पर गर्व है।
युवाओं के लिए बने प्रेरणा स्रोत
आज जब युवाओं को distractions और संसाधनों की चुनौतियों का सामना करना पड़ता है, शिवम सुमन की सफलता यह संदेश देती है कि समर्पण, अनुशासन और पारिवारिक सहयोग से किसी भी लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है। वे अब नालंदा के युवाओं के लिए एक मिसाल बन गए हैं।




