बिहारशरीफ।
राज्य सरकार की महिला सशक्तिकरण नीतियों और कल्याणकारी योजनाओं को गांव-गांव तक पहुँचाने तथा ग्रामीण महिलाओं की आकांक्षाओं को जानने के उद्देश्य से चलाया जा रहा “महिला संवाद” अभियान नालंदा जिले में गति पकड़ चुका है। अभियान के तीसरे दिन जिले के 16 प्रखंडों के 36 गांवों में करीब सात हजार से अधिक ग्रामीणों ने सक्रिय भागीदारी की।
इस अवसर पर चलित वीडियो वाहन के माध्यम से सरकार की विभिन्न उपलब्धियों, महिला सशक्तिकरण से जुड़ी योजनाओं और सामाजिक विकास से संबंधित चलचित्रों का प्रदर्शन किया गया, जिससे आमजन विशेषकर महिलाएं योजनाओं की जानकारी से अवगत हो सकें।
महिला संवाद का आयोजन जिले के सभी ग्राम संगठन स्तर पर जीविका के सहयोग से किया जा रहा है। आज की तिथि में सुबह की पहली पाली में 16 ग्राम संगठनों तथा शाम की दूसरी पाली में अन्य 16 ग्राम संगठनों में कार्यक्रम आयोजित किया गया। इसमें जीविका स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी दीदियों के साथ-साथ सामान्य ग्रामीण महिलाएं भी बढ़-चढ़कर शामिल हुईं।
महिलाओं ने कार्यक्रम में भाग लेकर अपने गांव, समाज और राज्य के विकास पर मंथन किया। उनकी आकांक्षाएं, सुझाव और समस्याएं मोबाइल एप के माध्यम से रिकॉर्ड की जा रही हैं, ताकि नीति-निर्धारण और योजनाओं के क्रियान्वयन में इन बिंदुओं को ध्यान में रखा जा सके।
18 अप्रैल 2025 से शुरू हुआ यह अभियान नालंदा जिले के सभी 20 प्रखंडों के कुल 2214 ग्राम संगठनों में संचालित किया जाएगा। इसके लिए जीविका द्वारा विस्तृत तैयारी की जा चुकी है। हर संगठन पर निर्धारित तिथि के अनुसार महिला संवाद आयोजित किया जा रहा है, जिसमें वीडियो फिल्म प्रदर्शन के साथ संवाद और सुझाव संग्रहण की प्रक्रिया अपनाई जा रही है।
आज के कार्यक्रम में शामिल महिलाओं और युवतियों ने राज्य सरकार की योजनाओं से लाभान्वित होकर अपने जीवन में आए सकारात्मक बदलाव की कहानियां साझा कीं। साथ ही उन्होंने अपनी आकांक्षाएं भी खुलकर रखीं। ग्रामीणों की प्रमुख मांगों में नालियों का समुचित प्रबंधन, सड़कों की मरम्मत, सामुदायिक शौचालयों का निर्माण, विधवा पेंशन की राशि में वृद्धि, राशन दुकान की स्थापना तथा दिव्यांगता भत्ता जैसी सुविधाएं शामिल रहीं।
कार्यक्रम में जिला परियोजना प्रबंधक श्री संजय प्रसाद पासवान, प्रबंधक (संचार) श्री संतोष कुमार, प्रबंधक (सामाजिक विकास) श्री पंकज कुमार सहित सभी प्रखंडों के प्रखंड परियोजना प्रबंधक एवं जीविका कर्मियों ने सक्रिय उपस्थिति दर्ज कराते हुए कार्यक्रम को सफल बनाने में महत्त्वपूर्ण योगदान दिया।




