बिहारशरीफ (अपना नालंदा)।मुन्नका देवी संस्कृत उच्च विद्यालय, कमता (हिलसा) से जुड़े सहायक शिक्षक रजनीश कुमार के वेतन भुगतान को लेकर चल रहे विवाद मामले में राज्य मुख्य सूचना आयोग, बिहार पटना ने अहम आदेश पारित किया है। आयोग ने स्पष्ट किया है कि त्रिस्तरीय जांच कमिटी से प्राप्त प्रतिवेदन के आलोक में नियमानुसार अग्रेतर कार्रवाई सुनिश्चित की जाए।
मामला विद्यालय के प्रधानाध्यापक रविशंकर प्रियदर्शी द्वारा दायर परिवाद से जुड़ा है, जिसमें उन्होंने आरोप लगाया था कि सहायक शिक्षक रजनीश कुमार को गैरकानूनी तरीके से लाभ पहुँचाने के उद्देश्य से बिहार प्रदेश कांग्रेस कमिटी के उपाध्यक्ष राजीव कुमार मुन्ना के दबाव में जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना), नालंदा एवं जिला शिक्षा पदाधिकारी, नालंदा द्वारा जुलाई 2024 से उनका वेतन बंद कर उन्हें प्रताड़ित किया जा रहा है।
इस संदर्भ में जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना), नालंदा द्वारा पत्रांक 846 दिनांक 18.08.2025 के माध्यम से प्रतिवेदन समर्पित किया गया। प्रतिवेदन में उल्लेख किया गया कि यह मामला राज्य मुख्य सूचना आयोग में वाद संख्या A-2639/2024 (रजनीश कुमार बनाम लोक सूचना पदाधिकारी-सह-प्रधानाध्यापक) के रूप में विचाराधीन रहा है।
आयोग के दिनांक 24.01.2025 को पारित आदेश में यह स्पष्ट किया गया कि बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड, पटना द्वारा पत्रांक 202 दिनांक 05.01.2025 के तहत प्रतिवेदन समर्पित किया गया था। इसके आलोक में जिला शिक्षा पदाधिकारी, नालंदा ने प्रधानाध्यापक पर उच्चाधिकारियों के आदेशों के उल्लंघन का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की अनुशंसा की थी।
इस अनुशंसा के आधार पर बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड, पटना ने पत्रांक 201 दिनांक 21.01.2025 के तहत प्रधानाध्यापक को कारणपृच्छा नोटिस जारी कर एक सप्ताह के भीतर स्पष्टीकरण मांगा था। साथ ही सहायक शिक्षक रजनीश कुमार की मूल सेवा पुस्तिका, वेतन निर्धारण प्रपत्र एवं प्री-रिसीप्ट (वेतन विवरणी) उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया था।
हालांकि, प्रधानाध्यापक द्वारा आवश्यक अभिलेख एवं साक्ष्य उपलब्ध नहीं कराए जाने के कारण वेतन भुगतान की प्रक्रिया आगे नहीं बढ़ सकी। आयोग ने यह भी पाया कि प्रधानाध्यापक द्वारा जिला शिक्षा पदाधिकारी के आदेशों का अनुपालन नहीं किया गया।
अनुमंडल पदाधिकारी, हिलसा द्वारा प्रस्तुत जांच प्रतिवेदन में यह तथ्य सामने आया कि प्रधानाध्यापक द्वारा उपलब्ध कराई गई वेतन विवरणी (पत्रांक 46 दिनांक 09.05.2024 एवं पत्रांक 52 दिनांक 18.05.2024) और जिला शिक्षा पदाधिकारी द्वारा उपलब्ध कराई गई वेतन विवरणी (पत्रांक 2462 दिनांक 07.05.2024) में स्पष्ट भिन्नता पाई गई है।
उक्त तथ्यों के आधार पर जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, स्थापना (पत्रांक 1811 दिनांक 28.03.2025) एवं जिला शिक्षा पदाधिकारी, नालंदा (पत्रांक 555 दिनांक 27.03.2025) द्वारा प्रधानाध्यापक के विरुद्ध आवश्यक कार्रवाई हेतु प्रतिवेदन विद्यालय प्रबंधन समिति के सचिव को भेजते हुए उसकी सूचना बिहार संस्कृत शिक्षा बोर्ड, विशेष निदेशक माध्यमिक शिक्षा विभाग एवं राज्य मुख्य सूचना आयोग को भी दी गई।
जिला पदाधिकारी, नालंदा के निर्देशानुसार इस मामले में त्रिस्तरीय जांच कमिटी का गठन किया गया है। लोक प्राधिकार ने आयोग को अवगत कराया कि अनुमंडल पदाधिकारी, हिलसा स्तर से जांच प्रतिवेदन अभी अप्राप्त है। जांच प्रतिवेदन प्राप्त होते ही नियमानुसार वेतन भुगतान की कार्रवाई की जाएगी।
जिला कार्यक्रम पदाधिकारी (स्थापना) द्वारा प्रस्तुत प्रतिवेदन के अवलोकन के बाद परिवादी को सभी तथ्यों से अवगत कराया गया। अंततः राज्य मुख्य सूचना आयोग ने निर्देश दिया कि त्रिस्तरीय जांच कमिटी की रिपोर्ट के आलोक में विधिसम्मत कार्रवाई सुनिश्चित की जाए तथा मामले की कार्यवाही समाप्त कर दी गई।







